Ayurveda Seminar धामी सरकार के कार्यकाल में एक और बड़ा इवेंट होने वाला है। उत्तराखंड सरकार राज्य को आयुष प्रदेश बनाने के लिए प्रदेश में आयुष ग्राम बनाने पर फोकस कर रही है. इसी अभियान को रफ्तार देते हुए अब आयुष मंत्रालय ने इस साल विश्व आयुर्वेद सम्मेलन के आयोजन की मेजबानी उत्तराखंड को सौंपी है. जिसकी तैयारियों में आयुष विभाग जुटा हुआ है. तय कार्यक्रम के अनुसार,12 से 15 दिसंबर तक देहरादून स्थित एफआरआई में सम्मेलन का अयोजन किया जा सकता है. विभागीय अधिकारियों के अनुसार प्रदेश में विश्व आयुर्वेद सम्मेलन होने से राज्य को आयुष के क्षेत्र में बड़ा फायदा मिलेगा.
तैयार हो जाइये विश्व आयुर्वेद सम्मेलन आयोजित करेगी धामी सरकार Ayurveda Seminar
साल 2023 में दिसंबर महीने में ग्लोबल इन्वेस्टर समिट का आयोजन किया गया था. जिस दौरान कई देशों के डेलिगेट्स समिट में शामिल हुए थे. ऐसे में सरकार इस साल दिसंबर महीने में विश्व आयुर्वेद सम्मेलन कराने की तैयारियों में जुट गई है. आयुष मंत्रालय के सहयोग से उत्तराखंड में पहली बार विश्व आयुर्वेद सम्मेलन होने जा रहा है. सूत्रों की माने तो देवभूमि से विशेष लगाव रखने वाले पीएम मोदी खुद इस सम्मेलन के शुभारंभ के दौरान उत्तराखंड आ सकते हैं वहीँ इस कॉन्फ्रेंस में कई देशों के डेलिगेट्स भी शामिल होंगे.
एफआरआई में हो सकता है प्रदेश का पहला सबसे बड़ा आयुर्वेद सम्मेलन
आयुर्वेदिक एवं यूनानी सेवाओं के निदेशक एवं आयुष विभाग के अपर सचिव विजय कुमार जोगदंडे ने मीडिया को जानकारी देते हुए कहा कि देहरादून में विश्व आयुर्वेदिक सम्मेलन का अयोजन होने जा रहा है. जिसमें देश के सभी आयुर्वेदिक संस्थानों के प्रतिनिधि, आयुष मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स के प्रतिनिधि शामिल होंगे. सम्मेलन के दौरान एकेडेमिक सेशन होंगे. जिसमे 150 से अधिक पेपर प्रेजेंट किए जायेंगे. इसके अलावा, अन्य देशों से करीब 100 से अधिक डेलिगेट्स, देश भर के आयुष संस्थानों से करीब दो से तीन हज़ार डेलिगेट्स के शामिल होने की संभावना है.आयुर्वेद सम्मेलन के दौरान अन्य राज्यों की आयुष नीतियों पर चर्चा की जा सकती है. कुल मिलाकर, इस सम्मेलन से उत्तराखंड राज्य को काफी अधिक फायदा पहुंचने की संभावना है.